अगर कोई भी व्यक्ति किसी भी क्षेत्र में में अपना मुकाम पाता है तो उसके पीछे उसके जीवन में संघर्ष की कोई बहुत बड़ी कहानी होती है और यही सब कुछ मीराबाई चानू भी कर चुकी थी। अपने सपनों को पूरा करने के लिए उन्हें काफी संघर्ष करना पड़ा है तब जाकर आज उन्हें ये सफलता हासिल हुई है।
मशहूर भारतीय वेटलिफ्टर मीराबाई चानू ने टोक्यो ओलंपिक में सिल्वर मेडल जीत लिया है । मीराबाई चानू वेटलिफ्टिंग में कोई आम नहीं हैं। इनकी लंबाई से इनकी काबिलियत को आंकने की भूल करना इनके विरोधियों को भारी पड़ता है। जब भी मीराबाई चानू मुकाबले में उतरतीं हैं तो भारत को अपना एक पदक पक्का तो लगता ही है, भले ही वह किसी भी टूर्नामेंट का क्यों न हो। इतनी कम उम्र में इन्होंने वह सब कुछ पा लिया है जो अभी तक अनेक खिलाड़ियों के लिए एक सपना सा ही है।
साइखोम मीराबाई चानू एक भारतीय खिलाड़ी है जिन्होंने हाल ही में कॉमन वेल्थ गेम्स में इंडिया को वेटलिफ्टिंग में पहला गोल्ड मैडल दिलवाकर गौरवान्वित किया है । इसी समय मीराबाई ने 6 लिफ्टिंग में 6 रिकॉर्ड तोड़े और महिलाओं की वेटलिफ्टिंग में 48 किलोग्राम में पहला स्थान हासिल किया ।
इसी साल भारत सरकार ने भी इन्हें पद्मश्री से भी सम्मानित किया है, जो कि एक बहुत बड़ा सम्मान है । मीराबाई इंडिया में मणिपुर की रहने वाली है. इनके विभिन्न प्रतियोगितओं में प्रदर्शन को देखते हुए भारत को इनसे आगे भी अनेको उम्मीदें है।
हालही में टोक्यो ओलिंपिक में मीरा बाई चानू ने भारत को वेट लिफ्टिंग में 49 किलोग्राम केटेगरी में रजक पदक जीतकर गौरवान्वित किया है । इससे भारत को सन 2021 के ओलिम्पिक में पहला पदक भी हासिल हो गया है ।
मीराबाई चानू का जन्म मणिपुर की राजधानी इम्फाल में हुआ । यह मणिपुर के पूर्व दिशा में स्थित है ।मीराबाई चानू की जन्म तारीख 8 अगस्त 1994 है । इस हिसाब तो से इनकी अब तक उम्र मात्र 23 साल है.।इनकी शिक्षा भी यही से शुरू हुई ।
वेट लिफ्टिंग में मीरा की कोच कुंजरानी देवी है जो खुद भी वेट लिफ्टिंग में एक भारतीय खिलाड़ी रही है । इत्तेफाक से कुंजरानी भी इम्फाल मणिपुर की ही रहने वाली है ।
साइखोम मीराबाई चानू एक महिला वेट लिफ्टर है, जिन्होंने साल 2017 में हुई वर्ल्ड वेटलिफ्टिंग चैंपियनशिप में 48 किलोग्राम वर्ग में शानदार गोल्ड मैडल हासिल किया था । इसके पहले साल 2014 में भी इन्होने ग्लासगो में संपन्न हुए कॉमन वेल्थ गेम्स में भी 48 किलोग्राम वर्ग में सिल्वर मैडल जीता था ।
वर्ष 2018 में भी इन्होने कॉमन वेल्थ गेम्स में गोल्ड हासिल कर भारत को पहला गोल्ड दिलवाया था यह गोल्ड भी महिलाओं की 48 किलोग्राम वेट लिफ्टिंग में है । चानू का चयन 2016 में संपन्न रिओ ओलिंपिक में भी हुआ था, परंतु दुर्भाग्यवश वे इस दौरान भारतवर्ष के लिए कोइ पदक नहीं ला पाई थी । इन्होने साल 2016 में गुवाहाटी में संपन्न हुए बारहवे साउथ एशियन गेम्स में भी स्वर्ण पदक हासिल किया था । खेलों में इनके बेहतर प्रदर्शन और लगन के चलते मणिपुर के मुख्यमंत्री ने भी इन्हें 20 लाख की राशि प्रदान की थी । और अपने प्रदर्शन से इन्होने अपना, मणिपुर और अपने देश का नाम रोशन किया।
भारतीय वेटलिफ्टर साइखोम मीराबाई चानू